BBC ख़बर, अनील असवाल स्पेशल रिपोर्ट
शिमला/ठियोग,हिमाचल प्रदेश के शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने बताया कि 16 अगस्त (आज)को ठियोग में स्वतंत्रता दिवस बड़ी धूमधाम के साथ मनाया गया।15 और सोलह अगस्त को शिमला के ठियोग से प्रजामंडल आंदोलन शुरू हुआ और यह भारत में विलय होने वाली पहली रियासत भी थी। इसके बाद भारत में लोकतंत्र की स्थापना हुई।
हिमाचल प्रदेश की राजधानी शिमला से 30 किलोमीटर दूर बसा ठियोग शहर 16 अगस्त को अपना स्वतंत्रता दिवस मनाता है। यह भारत में एकमात्र ऐसा शहर है!जिसका स्वतंत्रता दिवस भारत से अलग है। ठियोग में देश के पहले प्रजामंडल का गठन 1946 में ही हो गया था। इस शहर के अलग स्वतंत्रता दिवस होने की पूरी रोचक कहानी क्या है? देखें रिर्पोट:
ठियोग में गठित देश का पहला प्रजामंडल।
पूरा देश 15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस (स्वाधीनता दिवस) मना चुका है, लेकिन हमारे देश में ही हिमाचल प्रदेश के शिमला से 33 किलोमीटर दूर ठियोग कस्बे में स्वाधीनता दिवस हर साल 16 अगस्त को मनाया जाता है। इसके पीछे का इतिहास गौरवमयी है।
भारत बेशक वर्ष 1947 में आजाद हुआ लेकिन ठियोग में देश के पहले प्रजामंडल का गठन 1946 में ही हो गया था। उस समय देश में 360 रियासतों, राजाओं,नवाब और निजाम के शासन वाला बाकी देश अंग्रेजों से मुक्ति के लिए लड़ रहा था।
ठियोग रियासत की जनता के दबाव में यहां के राजा कर्मचंद ने गद्दी छोड़कर 16 अगस्त 1946 को ही अपने अधिकार प्रजामंडल को सौंप दिए थे। प्रजामंडल का प्रधानमंत्री सूरत राम प्रकाश को चुना गया। उनके साथ 16 अगस्त को ही गृहमंत्री बुद्धिराम वर्मा, शिक्षा मंत्री सीताराम वर्मा समेत अन्य आठ अन्य ने मंत्री पद की शपथ ली।
“भारतसंघ”में सबसे पहले मिलने का गौरव ठियोग को
ठियोग प्रजामंडल की स्टेट को “भारत संघ’ में मिलाने का प्रथम गौरव प्राप्त है। इसके बाद देश की सभी रियासतें एक-एक कर भारत संघ में मिलाई गई।पिछले 76 वर्षों से ठियोग के “पोटेटो ग्राउंड’ में 16 अगस्त को आजादी दिवस (स्वतंत्रता दिवस)मनाया जाता है। इसे स्थानीय लोग रिहाली और जलसा के रूप मनाते आए हैं। 15 और 16 अगस्त को चलने वाले दो दिवसीय जलसा में सांस्कृतिक कार्यक्रम के अलावा खेलकूद प्रतियोगिता भी कराए जाते हैं।
क्या बोलना है देश के पहले प्रजामंडल के PM के बेटे का
प्रजामंडल के पहले प्रधानमंत्री सूरत राम प्रकाश के बेटे और रिटायर्ड शास्त्री जय प्रकाश बताते हैं कि देश में भारत संघ में विलय होने वाली पहली रियासत ठियोग बनी, उसके बाद अन्य 360 रियासतों को भारत संघ में विलय करवाया गया। तब से लेकर आज तक 16अगस्त को यहां स्वाधीनता दिवस मनाने की परंपरा चलती आ रही है।